चक्रवृद्धि ब्याज की मूल बातें
चक्रवृद्धि ब्याज वित्तीय योजना का एक महत्वपूर्ण घटक है जो निवेशकों को दीर्घकालिक धन निर्माण में मदद करता है। यह कैलकुलेटर आपको विभिन्न परिदृश्यों में अपने निवेश के संभावित विकास को समझने में सहायता करेगा।
चक्रवृद्धि ब्याज की समझ
चक्रवृद्धि ब्याज कैसे काम करता है?
चक्रवृद्धि ब्याज में, प्रत्येक अवधि में अर्जित ब्याज को मूलधन में जोड़ दिया जाता है, और अगली अवधि के लिए ब्याज की गणना इस नए योग पर की जाती है। यह प्रक्रिया समय के साथ निवेश को तेजी से बढ़ने में मदद करती है।
गणना सूत्र
चक्रवृद्धि ब्याज की गणना निम्न गणितीय सूत्र द्वारा की जाती है:
A = P × (1 + r/n)nt
जहाँ:
A = अंतिम राशि
P = मूलधन
r = वार्षिक ब्याज दर
n = प्रति वर्ष चक्रवृद्धि अवधियों की संख्या
t = वर्षों में समय
वित्तीय योजना में महत्व
चक्रवृद्धि ब्याज को समझना दीर्घकालिक वित्तीय योजना के लिए आवश्यक है। यह बचत खातों, सावधि जमा, और अन्य निवेश विकल्पों में प्रयुक्त होता है। समय के साथ इसका प्रभाव निवेशकों के लिए महत्वपूर्ण लाभ प्रदान कर सकता है।
व्यावहारिक उदाहरण
10,000 रुपये का निवेश 7% वार्षिक ब्याज दर से 5 वर्षों में:
- वार्षिक चक्रवृद्धि पर: ~14,025 रुपये
- मासिक चक्रवृद्धि पर: ~14,161 रुपये
यह दर्शाता है कि चक्रवृद्धि आवृत्ति का अंतिम राशि पर प्रभाव पड़ता है।